Showing posts with label
पटना
.
Show all posts
Showing posts with label
पटना
.
Show all posts
Saturday, November 30, 2019
शहर सारा ख़ामोश क्यों है ?
›
अक़्सर देखता हूँ शहर में हमारे "लगन" वाली रातों के .. प्रायः हर बारात में आतिशबाजियों के साथ-साथ में उड़ती हैं धज्जियाँ चार-चार ...
12 comments:
Thursday, November 28, 2019
शहीद-स्मारक
›
तुम्हारे सीनों को जब फिरंगियों की बेधती निर्दयी गोलियाँ बना गई होगी बेजान लाशें तुम्हें .. बेअसर रही होगी तब भी भले ही मन्दिरों की ...
2 comments:
›
Home
View web version