Showing posts with label
कागभगोड़े
.
Show all posts
Showing posts with label
कागभगोड़े
.
Show all posts
Thursday, November 26, 2020
कागभगोड़े
›
सदियों से हो मौन खड़े और कहीं बैठे , कँगूरे वाले ऊँचे-ऊँचे भवनों के भीतर , पर देखो नीले आसमान के नीचे खड़े कागभगोड़े भी हैं तुझ से कहीं बेहतर।...
18 comments:
›
Home
View web version